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Tuesday, November 11, 2014

ख्वाबों का संसार


हर औरत को
गहने ,कपड़ों और
तोहफों से
बहुत प्यार होता है ,
हर बार शॉपिंग कर के तो
जैसे मन तृप्त हो जाता है ,
घर की सजावट मे
एड़ी चोटी का जोर
लगा देतीं हैं
कीमती सामानों से
सजावट करती हैं,
पर मिनी
वो अलग है
पसन्द उसे भी है ये सब
एक हद तक
लेकिन वो थोड़ी सी जुदा है.......
उसके लिए
सबसे बड़ा तोहफा है
"विश्वाश "
सबसे बेशकीमती गहना है
"प्यार "
उसने घर की सजावट
कीमती सामानों से नहीं
बल्कि "एहसासों" से की है
और यहीं तो है
उसके ख्वाबों का संसार ...........

"प्यार, विश्वाश और एहसासों की
दुनिया
येही ही तो है मन की
तृप्ती का जरिया ,
पा ले इसे जो एक बार
उसकी ज़िन्दगी हो जाये
गुलज़ार "

रेवा


15 comments:

  1. बहुत सुन्दर प्रस्तुति।
    --
    आपकी इस प्रविष्टि् की चर्चा कल बुधवार (12-11-2014) को "नानक दुखिया सब संसारा ,सुखिया सोई जो नाम अधारा " चर्चामंच-1795 पर भी होगी।
    --
    चर्चा मंच के सभी पाठकों को
    हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
    सादर...!
    डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'

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  2. प्यार ,विश्वास ,एहसास यही तो जिंदगी का सारांश \बहुत सुन्दर प्रस्तुति|
    प्रेम !
    तुझे मना लूँ प्यार से !

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  3. प्यार विश्वास और एहसासो की दुनिआ
    यही तो है मन की
    तृप्ति का जरिया
    बेमिसाल.. वाह रेवा दी निःशब्द हूँ क्या कहूँ
    sach me bemishal ho aap

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  4. vaakayi.....bina iske ghar kaisa....lajawab

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  5. प्रेम, एहसास ही सब कुछ होता है ... बाकी तो सब आना जाना ...

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  6. प्‍यार विश्‍वास और एहसासों की दुनिया में सिमट के जिंदगानी भी मुस्‍कराने लगती है और ख्‍वाबों की बस्तियां बसा लेती है
    बहुत ही अच्‍छी अभ्‍िाव्‍यक्ति

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