कई बार सोचा अपने प्यार की गहराई कों , उसके एहसासों कों शब्दों में
बयाँ करू,कोशिश भी की पर हर बार ,मेरे ही शब्द ,मुझे परिपूर्ण नही लगे ,यह उसी कड़ी में एक और कोशिश है.........
कैसे बताऊ तुझे की कैसा प्यार है मेरा………
जैसा माँ अपने बच्चे से करती है
वैसा नीरछल प्यार है मेरा ,
जितनी गहराई सागर में होती है
उससे भी गहरा प्यार है मेरा ,
जितनी शीतलता चाँद की चांदनी मे होती है
उस से भी शीतल प्यार है मेरा ,
ऐसे जुड़ गई हूँ तुझसे जैसे ,
फूलों के साथ खुशबू
जैसे दिल के साथ धड़कन ,
ना कोई रिश्ता ना कोई नाता
बस प्यार की डोर से बंध गई हूँ तुझसे /
(रेवा)
प्यार की गहराई और एहसासों कों सटीक शब्दों में बयां किया है आपने रेवा जी. शव्दों में प्यार की खुशबू महक रही है.
ReplyDeleteशव्द पुष्टिकरण हटावें (डैशबोर्ड-सेटिंग-वर्ड वेरीफिकेशन-नो) इससे टिप्पणी करने वालों को असुविधा होती है.
qurban hone ki hud ko kaise bayan kar sakte ho ... patanga bayan nahin kar pata hai ki ooski halat kya hai shama ke ishque main ...aur kaise fana ho gaya ! muhabbat ka nata ek he hai, jisse karo fana ho jao. shama ko to ehsas bhi nahin ki koi oos per mar mita hai !!..bahot sunder bhav hain jo aap ki kalam ne rach diye..
ReplyDeleteSalamz
ReplyDeleteMazza Nhio aaya
De jandi koi jootha lara
main us lare vich poori umar bita dinda
ek wari kehndi ta sahi rukan lai
main utthe khada das janam gava dinda
Too cute
ReplyDeletegood
ReplyDeletekya likhu/
Pyarrrrrrrrr!!!!!!
Is ko toa doonh ta hoo, ab tak nai mila.
Any way aachi baat likhee aap ne.
Mere dost ! apki kavita khilta hua Gulab hey ,
ReplyDeleteApka yeh maaus hridya chahaton ka shelab hey ,
Baghia mey phul bahut sundar khilte hein dost ,
Chun chun kar phulon sey Puja ki thalli bhi sajati ho ,
prantu vaha ree apne hi bhitar ki nirasha ....
Puja ki thalli to mandir tak pahunch jati hey ,
par apne hi bhavon ka phul raste mey hi gira deti ho,
Jaggo mere dost yeh sundar bhav jo apke hridya mey hein yeh SWARTH ki bhummi par panpey phul nahi hein , yeh to bas SAMARPAN chahate hein nish-kaam samarpan , mandir mey phul chadha kar hi chit sthir hoga , nirasha key badal chatenge ,tab hi sakun bhari madhurta suraj ki tarha apni lalima bikheregi !
Ek dost !
ONE CORRENTION " JITNI SHEETALTA CHAND KI CHANDNI MEY HOTHI HAI"
ReplyDeleteADD _MEY___
LOVLEY LINES OF LOVE ...........
POOORA EHSAS HOTA HAI PYAR KA.........
pyar ko bayan karna mushkil hee nahi na mumkin hai... pyar sirf pyar hota hai.... just we can feel it simply
ReplyDeleteबहुत ही सुन्दर प्रस्तुति ।
ReplyDeleteकैसे बताऊ तुझे की कैसा प्यार है मेरा ,
ReplyDeleteजैसा माँ अपने बच्चे से करती है ,
वैसा नीरछल प्यार है मेरा ...........
Bahut hi Uchh aur Nischal prem ki Anubhuti... Sadhuwad apko....
This comment has been removed by the author.
ReplyDeleteआसमान से भी ऊंचा और दूर तक फैला हुआ है मेरा प्यार.....
ReplyDeleteजिसे चाह कर भी में अपनी बाहों में समेट न सका......
इतना नज़दीक आकर भी.....
अनछुआ ही रह गया मेरा प्यार.....
पर उस नजदीकी का अहसास...
आज भी मेरे मन में है....
एक प्रेयसी का प्रेमी....जो शायद कभी एक न हो सके....
बहुत अच्छी प्रस्तुति ........
ReplyDeleteयहाँ कविता बहुत जल्दी चोरी होती हैं .........कृपया ध्यान दे ...