आज फिर किसी ने मुझ पर यह इलज़ाम लगाया
तुझे अपने दोस्तों की कदर नहीं
ये कह कर दिल दुखाया ,
जब भी कोई रिश्ता बनाया
उसे मैंने सच्चे दिल से निभाया ,
फिर भी हर बार हर जगह
लोगो ने मुझे ही गलत ठहराया ,
कहाँ हो जाती है खता ,ये कभी जान न पाई
पर खुदा को हर बार देती हूँ दुहाई
मुझे ऐसी किस्मत क्यों दी हरजाई /
रेवा
तुझे अपने दोस्तों की कदर नहीं
ये कह कर दिल दुखाया ,
जब कभी होती है ऐसी बात
टूट कर बिखर जाती हूँ मैं ज़ार ज़ार ,जब भी कोई रिश्ता बनाया
उसे मैंने सच्चे दिल से निभाया ,
फिर भी हर बार हर जगह
लोगो ने मुझे ही गलत ठहराया ,
कहाँ हो जाती है खता ,ये कभी जान न पाई
पर खुदा को हर बार देती हूँ दुहाई
मुझे ऐसी किस्मत क्यों दी हरजाई /
रेवा
जब भी कोई रिश्ता है बनाया
ReplyDeleteउसे मैंने सच्चे दिल से है निभाया .........
फिर भी हर बार हर जगह
लोगो ने मुझे ही गलत ठहराया ......
Sach...aise me behad peedaa hoti hai..
sach me yeh dard...
ReplyDeletebahut hi bhawuk rachna....